पटना. 500 रुपए से महंगे कपड़े पर 5 प्रतिशत वैट बढ़ाने के विरोध में गुरुवार को पटना समेत कई जिलों के कपड़ा दुकानदारों ने अपने दुकान को बंद रखा है। थोक एवं खुदरा कपड़ा दुकानें आज और कल बंद रहेंगी।
कपड़ा दुकानें बंद होने पर भी राजनीति शुरू हो गई है। डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने कहा कि ये बंद बेमतलब का है। गरीब जनता 500 रुपए से अधिक मीटर के कपड़े नहीं खरीदती है। वही भाजपा विधायक नितिन नवीन ने कहा कि नीतीश कुमार का वैट लगाना गलत है।
बिहार टेक्सटाइल चैंबर ऑफ कॉमर्स (बीटीसीसी) के नेतृत्व में राज्य के 1 लाख से अधिक दुकानों के शटर गिरा हुआ है। इसके साथ ही शहरी, अर्ध ग्रामीण और ग्रामीण क्षेत्रों के असंगठित दुकानदारों ने भी एकजुटता दिखाते हुए बंद को अपना समर्थन दिया है। बीटीसीसी के प्रधान सचिव रंजीत सिंह के मुताबिक, कपड़े पर टैक्स लगाने का सरकार का फैसला तर्कहीन है। इससे टैक्स संरचना पहले से अधिक कठिन हो जाएगी।
बिहार गार्मेंट मैन्यूफैक्चरर्स एंड रिटेलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष मुकेश जैन ने कहा कि सरकार की इस नई टैक्स नीति के खिलाफ वे सभी हैं। दो दिनों की बंदी का उनका संगठन भी समर्थन कर रहा है। नई टैक्स नीति के कारण राज्य के अंदर बिक्री घटेगी और राज्य का व्यापार प्रभावित होगा।
पटना थोक वस्त्र व्यवसायी संघ के सचिव पुरुषोत्तम कुमार चौधरी के अनुसार नई टैक्स संरचना पूरी तरह विसंगतिपूर्ण है। नए टैक्स फ्रेम के अनुपालन से प्रदेश के हजारों व्यवसायी बेवजह परेशान होंगे। वे बताते हैं कि राज्य में दो हजार से महंगी साड़ियों का बाजार सीमित है। बनारस, बेंगलुरु और कोलकाता से ये साड़ियां आती हैं। इन राज्यों के साथ किसी भी पड़ोसी राज्य में वैट नहीं लगता है। ऐसे में ग्राहक सीधे बनारस का रुख करेंगे।
Source : Bhaskar.com